काशीपुर। गुरु नानक स्कूल फायरिंग मामले में पुलिस जांच अब नए मोड़ पर पहुंच गई है। शुक्रवार को पुलिस ने आरोपी किशोर के पिता जगजीत सिंह पुत्र कश्मीर सिंह, निवासी गुलजारपुर को चौकी कुंडेश्वरी में तलब कर पूछताछ की। इस दौरान उन्होंने पुलिस के सामने चौंकाने वाला खुलासा किया कि उनका पुत्र घर से तमंचा और कारतूस लेकर गया था। इतना ही नहीं, उन्होंने यह भी स्वीकार किया कि तीन जिंदा कारतूस उन्होंने घर के पास छिपाकर रखे थे।
पुलिस ने उनकी निशानदेही पर तलाशी अभियान चलाकर घर के समीप से 315 बोर के तीन जिंदा अवैध कारतूस बरामद कर लिए। इस बरामदगी ने मामले को और गंभीर बना दिया है। पुलिस ने जगजीत सिंह के खिलाफ भी विधिक कार्रवाई शुरू कर दी है।
आपराधिक इतिहास ने बढ़ाई पुलिस की सतर्कता
सूत्रों के अनुसार जगजीत सिंह के खिलाफ साल 2015 में हत्या के प्रयास का मुकदमा भी दर्ज हो चुका है, जिससे उनका आपराधिक इतिहास उजागर हो गया है। इस कारण पुलिस इस प्रकरण में किसी भी चूक से बचने के लिए अतिरिक्त सतर्कता बरत रही है। अधिकारियों का कहना है कि आरोपी किशोर के अपराध की तह तक पहुंचने के लिए परिवार की भूमिका और पृष्ठभूमि की जांच बेहद जरूरी है।
जांच का दायरा बढ़ा, अन्य संदिग्ध भी रडार पर
काशीपुर पुलिस ने स्पष्ट किया है कि फायरिंग प्रकरण की जांच केवल आरोपी किशोर और उसके पिता तक सीमित नहीं रहेगी, बल्कि उनके नजदीकी संपर्कों और संभावित संदिग्धों पर भी की जा रही है। पुलिस का कहना है कि कानून के सामने कोई भी सुरक्षित नहीं है और अपराध में शामिल हर शख्स को कठोर कार्रवाई झेलनी होगी।
सुरक्षा और शिक्षा व्यवस्था पर सवाल
इस सनसनीखेज घटना ने शहर में स्कूलों की सुरक्षा व्यवस्था और अभिभावकों की जिम्मेदारी को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। विशेषज्ञ मानते हैं कि बच्चों की मानसिकता और गतिविधियों पर अभिभावकों की निगरानी न होना बड़े हादसों का कारण बन सकता है।
आगे की कार्रवाई
पुलिस अधिकारियों का कहना है कि जांच पूरी होने तक हर पहलू की गहनता से जांच की जाएगी। सभी गवाहों और सबूतों को खंगाला जाएगा और नए तथ्य सामने आने पर और गिरफ्तारियां भी संभव हैं।
इस पूरे मामले ने काशीपुरवासियों को झकझोर दिया है और यह संदेश स्पष्ट कर दिया है कि अवैध हथियार रखने और अपराधियों को शह देने वालों के खिलाफ कानून सख्ती से पेश आएगा।
